पूर्व एएजी राजेंद्र प्रसाद गुप्ता होंगे राज्य के महाधिवक्ता:हाईकोर्ट की फटकार के बाद एजी की नियुक्ति, अब एएजी की नियुक्तियों का इंतजार
जयपुर
राजेंद्र प्रसाद गुप्ता के एडवोकेट जनरल बनने के बाद लोग उन्होंने बधाई देने के लिए पहुंच रहे हैं।
राजस्थान हाईकोर्ट के सीनियर वकील राजेंद्र प्रसाद गुप्ता राज्य के नए महाधिवक्ता (एडवोकेट जनरल) होंगे। राज्यपाल कलराज मिश्र ने गुप्ता को महाधिवक्ता बनाने के प्रस्ताव को मंजूरी दे दी है। राजभवन ने इसके आदेश जारी कर दिए हैं। सरकार ने राजभवन को राजेंद्र प्रसाद गुप्ता को महाधिवक्ता बनाने का प्रस्ताव भेजा था, जिसे मंजूर कर लिया है।
राजेंद्र प्रसाद गुप्ता वसुंधरा सरकार के समय अतिरिक्त महाधिवक्ता (AAG) रह चुके हैं। वे जनवरी 2014 से जनवरी 2019 तक इस पद पर रहे। वकालत के क्षेत्र में उनकी अच्छी प्रतिष्ठा मानी जाती है और 1985 से हाईकोर्ट की जयपुर बेंच में प्रैक्टिस कर रहे हैं। वे नेशनल लॉ यूनिवर्सिटी जोधपुर के एकेडमिक मेंबर हैं। उन्होंने एलएलबी के साथ सीए भी किया है।
साथी वकीलों ने भी राजेंद्र प्रसाद गुप्ता का माला पहनाकर और गुलदस्ते देकर स्वागत किया।
नागौर जिले में परबतसर के पास रिड़ गांव के रहने वाले हैं गुप्ता
राजेंद्र प्रसाद गुप्ता मूल रूप से नागौर जिले की परबतसर तहसील के रिड़ गांव के रहने वाले हैं। उनका जन्म 4 जून 1962 को हुआ था। स्कूली शिक्षा गांव से पूरी करने के बाद 1981 में बीकॉम की डिग्री ली। इसके बाद 1985 में राजस्थान यूनिवर्सिटी से एलएलबी कर साल 1986 में सीए की उपाधि ली थी। उनकी नियुक्ति के बाद पैतृक गांव में खुशी का माहौल है। गांव में लोगों ने मिठाई बांटकर खुशी का इजहार किया।
हाईकोर्ट ने लगाई थी फटकार
सरकार बनने के 49 दिन बाद महाधिवक्ता की नियुक्ति हुई है। महाधिवक्ता नियुक्ति में देरी को लेकर हाईकोर्ट में याचिका दायर हुई थी। महाधिवक्ता नियुक्ति में हुई देरी को लेकर हाईकोर्ट ने सरकार से जवाब मांगा था। हाईकोर्ट ने तल्ख टिप्पणी करते हुए कहा था कि ऐसा पहली बार हो रहा है, जब महाधिवक्ता की नियुक्ति में इतनी देरी हुई है। हाईकोर्ट ने देरी पर जवाब भी मांगा था। हाईकोर्ट की तल्ख टिप्पणियों के बाद अब महाधिवक्ता की नियुक्ति हुई है।
अब अतिरिक्त महाधिवक्ता और पीपी, एपीपी की नियुक्तियां होंगी
महाधिवक्ता की नियुक्ति के बाद अब राजस्थान हाईकोर्ट और सुप्रीम कोर्ट में पैरवी के लिए अतिरिक्त महाधिवक्ताओं की नियुक्ति होना बाकी है। इसके अलावा लोअर कोर्ट में पैरवी के लिए बड़ी संख्या में पब्लिक प्रोसिक्यूटर (PP) और एपीपी की नियुक्त भी होनी हैं। सरकार बदलने के बाद इन सब पदों पर नए सिरे से नियुक्तियां होनी हैं।
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