राजस्थान में कंप्यूटर अनुदेशक भर्ती ने एक बार फिर युवाओं को ठगा: डिग्री को लेकर नया फरमान बना कई युवाओं के गले की फांस, पढ़ें पूरा मामला
बीकानेर। राजस्थान कर्मचारी चयन बोर्ड जयपुर द्वारा कंप्यूटर अनुदेशक भर्ती के चयनित प्रतिभागियों हेतु वरीयता सूची निर्धारण कर काउंसलिंग की तिथियां घोषित कर दी गई हैं। माध्यमिक शिक्षा विभाग द्वारा इसके लिए आवंटन के पश्चात बीकानेर में 12 अप्रैल को 182 चयनित अभ्यर्थियों की काउंसलिंग होनी है परंतु प्राइवेट विश्वविद्यालयों से योग्यता अर्जित करने वाले चयनित अभ्यर्थियों को केवल काउंसलिंग प्रक्रिया में शामिल किया गया है उन्हें अभी नियुक्ति आदेश जारी नहीं किए जाएंगे। प्राप्त जानकारी के अनुसार इस हेतु जारी आदेशों में साफ लिखा गया है कि उत्कृष्ट खिलाड़ी चयन वर्ग में चयनित तथा राज्य के निजी विश्वविद्यालय / संस्था एवं राज्य से बाहर के विश्वविद्यालय / संस्था से अर्जित शैक्षिक / प्रशैक्षिक योग्यता वाले अभ्यर्थियों के प्रमाण पत्रों की वैधता सम्बन्धी जांच विभाग स्तर पर करवाया जाकर सम्बन्धित विश्वविद्यालय / संस्था द्वारा उक्त अभ्यर्थियों द्वारा अर्जित प्रशैक्षिक योग्यता प्रमाण पत्र वैध व मान्य पाये जाने पर नियुक्ति / पदस्थापन आदेश जारी किया जाना है। उक्त अभ्यर्थियों के प्रमाण पत्रों की वैधता सम्बन्धी जांच इस कार्यालय स्तर पर प्रकियाधीन है। अतः संलग्न सूची में विवरणांकित अभ्यर्थियों को विशेष विवरण कॉलम में Only Counselling अंकित वाले अभ्यर्थियों की केवल काउंसलिंग करवाई
जानी है, नियुक्ति आदेश आगामी निर्देशों तक जारी नहीं किये जायें। प्राप्त जानकारी के अनुसार इस ओनली काउंसलिंग प्रक्रिया में वनस्थली विद्यापीठ, मोदी यूनिवर्सिटी जैसे राजस्थान के नामी-गिरामी विश्वविद्यालयों के विद्यार्थी भी हैं जिन्हें केवल काउंसलिंग हेतु ही बुलाया गया है। ऐसी स्थिति में यह विद्यार्थी पशोपेश में है क्योंकि अगर इनकी योग्यता संबंधी डिग्रियों में कोई संशय की स्थिति थी तो विभाग द्वारा इतने लंबे समय तक इसकी जांच क्यों नहीं करवाई गई? 4 महीने की लंबी अवधि तक विभाग ने इस दिशा में कोई कार्यवाही क्यों नहीं की ? अब काउंसलिंग प्रक्रिया दिनांक घोषित होने के पश्चात उन्हें केवल काउंसलिंग सूची में शामिल करना कहां तक उचित है ? बीकानेर में विभाग द्वारा बीकानेर के लिए चयनित 182 पदों की सूची में 30 से अधिक चयनित अभ्यर्थी केवल काउंसलिंग के लिए आमंत्रित किए गए हैं।
सूत्रों की मानें तो इस पूरी प्रक्रिया में धांधले बाजी की स्थिति यही समाप्त नहीं होती है। सूत्रों के अनुसार शहरी क्षेत्र के विद्यालयों को एक बार रिजर्व में रखा गया है। वहां पर अभी किसी को नियुक्ति नहीं दी जाएगी।जबकि यह नियम है कि दिव्यांग,एकल महिला, विधवा, परित्यक्ता इन्हें अगर शहरी क्षेत्र में विद्यालय में पद खाली है तो सबसे पहले इन्हें पद दिया जाए परंतु बावजूद इसके शहरी क्षेत्र के विद्यालयों के पदों को अभी एक बार रिजर्व में रखा गया है, ताकि बाद में इनकी बंदरबांट की जा सके। शायद यही कारण है कि अब तक विभाग में बीकानेर में कहां-कहां पद हैं इसकी सूची जारी नहीं की गई है। इससे पात्र अभ्यर्थियों को उचित चयनित स्थल नहीं मिल पाएगा। विभाग के इस ढुलमुल रवैये के चलते एक बार फिर युवा खुद को ठगा सा महसूस करने लगे हैं और फिर से विभाग के नए फरमान के इंतजार में बैठे हैं।
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