बीकानेर। राजकीय महारानी सुदर्शन कन्या महाविद्यालय बीकानेर में “इतिहास विभाग” द्वारा छात्रों के लिए एक कार्यशाला का आयोजन किया गया। जिसमें इतिहास के साथ-साथ अन्य विषय की छात्राओं ने भी बढ़ चढ़कर हिस्सा लिया। व्याख्यान देने के लिए मुख्य वक्ता के रुप में राजस्थान के जाने-माने व चर्चित इतिहासविद अरविंद भास्कर और राजकीय डूंगर महाविद्यालय बीकानेर के इतिहास विषय के सहायक आचार्य डॉ श्रीराम नायक पधारे। सर्वप्रथम इतिहास विभागाध्यक्ष डॉ सुनीता बिश्नोई ने मुख्य वक्ताओं का परिचय बताते हुए छात्राओं को इतिहास विषय के अध्ययन की सामान्य रुपरेखा प्रस्तुत की। महाविद्यालय प्राचार्य डॉ नंदिता सिंघवी ने इतिहास विभाग द्वारा महाविद्यालय के बच्चों के लिए प्रतियोगिता परीक्षा पर समय समय पर कार्यशाला आयोजित करवाने की सराहना की। प्राचार्य ने अपने जीवनानुभवो के वृतांत सुनाते हुए छात्राओं को जीवन की हर परिस्थिति में डट कर खड़े रहने व शिक्षा को जीवन का मूलमंत्र बनाने की सीख दी। मुख्य वक्ता अरविंद भास्कर ने भी अपने कॉलेज के दिनों की शिक्षा पद्धति के किस्से सुनाते हुए छात्राओं के साथ इतिहास विषय की विस्तृत जानकारी साझा की तथा इतिहास अध्ययन में बहुउपयोगी पुस्तकों की चर्चा करते हुए कहा कि संदर्भित पुस्तकों से ही वास्तविक ज्ञान होगा जो आपकी सफलता में सहायक होगा । सहायक आचार्य डॉक्टर श्री राम नायक ने अपने वक्तव्य में छात्राओं को समय की कीमत बताते हुए कहा की सफलता का कोई शॉर्टकट नही होता। साथ ही इतिहास विषय अध्ययन के महत्वपूर्ण बिंदुओं की चर्चा की। महाविद्यालय की सहायक आचार्य अमृता सिंह ने छात्राओं को संबोधित करते हुए कॉलेज शिक्षा के पाँच वर्षों का छात्रा जीवन में महत्त्व बताते हुए वनवीक प्रणाली से दूर रहने व समय को साथ लेकर चलने, सोशल मीडिया से दूर रहने के लिए प्रेरित किया। अंत में सहायक आचार्य अंजू सांगवा ने सभी को धन्यवाद ज्ञापित किया। व्याख्यान में प्रो. शशि वर्मा, स्टार्क फाउंडेशन के श्रीमती मीनू मोदी,भावना खत्री, सोनल पारीक व गौतम पांडेय और महाविद्यालय की इतिहास विभाग व अन्य छात्राएं उपस्थिति रही।
कार्यक्रम के अंत में सभी अतिथियों द्वारा महाविद्यालय की “सुदर्शन वाटिका” में पौधे लगाकर “एक पेड़ मां के नाम” से पौधे लगाकर “अमृत पर्यावरण महोत्सव” कार्यक्रम में सहयोग दिया ।
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