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दुनिया की सबसे भयानक जेल, जहां महिलाओं को जिंदा जला देते हैं गैंग, सिर काटकर खेलते हैं फुटबॉल

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दुनिया की सबसे भयानक जेल, जहां महिलाओं को जिंदा जला देते हैं गैंग, सिर काटकर खेलते हैं फुटबॉल

El Salvador prison: दुनिया की सबसे खतरनाक जेलों में अल सैल्वाडोर की जेलें आती हैं। इस देश में औसतन एक साल में करीब 67 हजार लोगों को जेल भेजा जाता है। इस देश की जेलों में एक तरफ कैदियों की ओर से कई बार भयावह हिंसा हुई है तो अनुशासन के नाम पर कैदियों पर भी खूब प्रताड़ित किया जाता है। इन जेलों में अक्सर ही प्रताड़ना का शिकार होकर कैदियों की मौतें भी होती रहती हैं।

हाइलाइट्स

  • सैल्वाडोर में कैदियों की हिंसा के बाद बनी है बेहद खास जेल
  • अल सैल्वाडोर की 2 फीसदी वयस्क आबादी जेलों के अंदर है
  • सैल्वाडोर की जेलों को कहा जाता है दुनिया की सबसे बुरी जेल
El Salvador prison

अल सैल्वाडोर की जेलों की हालत दुनिया में सबसे बदतर मानी जाती है।

सैन सैल्वाडोर: दुनिया में ऐसी जेल शायद ही कहीं हों, जहां खुलेआम इतनी बड़ी गैंगवार होती है कि कई-कई हत्याएं हो जाती हैं। जेल में हमला कर लोगों को जिंदा जला दिया जाता है और काटे गए सिरों फुटबॉल तक खेली जाती है। ये सब अल साल्वाडोर की जेलों में होता है। इसीलिए अल साल्वाडोर की जेलों को दुनिया की सबसे खतरनाक और भयावह जेल माना जाता है। ये सब इसलिए भी होता है कि होंडुरास और अल साल्वाडोर के खूंखार ड्रग्स कार्टेल गिरोह ना सिर्फ दक्षिण अमेरिकी देशों के कई शहरों को चलाते हैं। बल्कि वे जेलों को भी नियंत्रित करते हैं। जेलों पर नियंत्रण की कोशिशें अक्सर भयावह किस्म की लड़ाईयों में बदल जाती हैं।

डेली स्टार की रिपोर्ट में होंडुरास के पत्रकार मार्सेल ऑर्सोटो कहते हैं कि भीड़भाड़ वाली और हिंसक जेलों को गिरोह के आका अपने अस्थायी मुख्यालय की तरह इस्तेमाल करते हैं। वो कहते हैं कि अधिकांश हत्या के आदेश जेलों से आते हैं, जहां गिरोह के सरगना बैठे हैं। फोन और दूसरी चीजों तक पहुंच के कारण वे जबरन वसूली, हत्या और आक्रमण का आदेश देते हैं। क्रूर एमएस -13 और बैरियो 18 गिरोह के मालिक शराब के व्यापार को भी जेलों से नियंत्रित करते हैं। उनका कहना है कि जेल कर्मचारी और वरिष्ठ अधिकारी भी गिरोह के नियंत्रण में रहते हैं। अक्सर ही दो प्रतिस्पर्धी ड्रग्स कार्टेल के बीच की प्रतिद्वंद्विता सलाखों के पीछे हिंसा में बदल जाती है।

महिला जेल पर हमले के बाद शुरू हुआ तलाशी अभियान

मार्सेल बताते हैं कि होंडुरास की राजधानी तेगुसिगाल्पा से 12 मील दूर महिलाओं की जेल पर एक सशस्त्र बैरियो 18 हिट दस्ते ने हमला किया और कैदियों पर स्वचालित हथियारों से अंधाधुंध गोलीबारी शुरू कर दी। गैंगस्टरों ने संदिग्ध MS-13 समर्थकों को घेर लिया और उन्हें भागने से रोकने के लिए इलाके में आग लगा दी। इसका नतीजा ये हुआ कि जगह-जगह पर महिलाओं की जली हुई लाशें पड़ी थीं। कुल 41 लोग इसमें मारे गए थे। राष्ट्रपति शियोमारा कास्त्रो ने इसके बाद कहा था कि जेल प्रहरियों को पहले से पता था कि गिरोह के सदस्य हमले की योजना बना रहे थे लेकिन उन्होंने इसे रोकने के लिए कुछ नहीं किया। इसके बाद सरकार ने जेल में सुधार के लिए कठोर कदम उठाने का ऐलान किया।


देशभर की जेलों पर छापे मारे गए और औचक तलाशी ली गई, जिसमें पिस्तौल, असॉल्ट राइफलें, गोला-बारूद, हथगोले, नकदी और आभूषण तक मिले, जिनकी अनुमानित कीमत लगभग 7 मिलियन पाउंड थी। दूसरी ओर अल साल्वाडोर में जेलें और भी अधिक अराजक और खतरनाक हैं। साल्वाडोर के राष्ट्रपति नायब बुकेले ने भी वादा किया है कि जेलों में अनुशासन सख्त किया जाएगा, जिससे कैदियों तक ‘वेश्याओं, मोबाइल फोन और कंप्यूटर’ का पहुंचना रुक जाएगा।


अल सैल्वाडोर में जेलों की हालत

अल सैल्वाडोर की सबसे बड़ी जेल एस्पेरांजा में जेलर अपने कैदियों के डर में रहते हैं। अत्यधिक भीड़भाड़ वाली जेल में 10,000 के लिए डिजाइन की गई जगह में 33,000 कैदी हैं। मार्सेल का कहना है कि यहां एक गिरोह के सदस्यों ने यहां अपने गार्डों की हत्या कर दी और एक का सिर काटकर उसके साथ फुटबॉल खेला। अल सैल्वाडोर की लगभग दो प्रतिशत वयस्क आबादी सलाखों के पीछे होने के कारण देश में कारावास की दर बहुत अधिक है। फरवरी में राष्ट्रपति बुकेले ने नए 40,000 क्षमता वाले आतंकवाद कारावास केंद्र के उद्घाटन की घोषणा की। जिसे सबसे हिंसक और खतरनाक अपराधियों को रखने के लिए डिजाइन किया गया है।


अल सैल्वाडोर के जेल निदेशक ओसिरिस लूना ने कहा, 410 एकड़ की नई जेल की सुरक्षा 600 सैनिकों और 250 पुलिस अधिकारियों द्वारा की जाएगी। यहां उन आतंकवादियों को रखा जाएगा, जिन्होंने हमारे प्यारे साल्वाडोरन लोगों को परेशान किया। पिछले साल गिरोह से संबंधित हत्याओं में भारी वृद्धि के बाद अल साल्वाडोर में अधिकारियों ने राष्ट्रीय आपातकाल की घोषणा की थी। जिससे पुलिस को बिना वारंट के गिरफ्तारी की अनुमति मिल गई और जेलों में भीड़ बढ़ गई।

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