राष्ट्रीय विधिक सेवा दिवस समतापूर्ण समाज के निर्माण हेतु सशक्त समाधान तंत्र : मदनलाल भाटी अध्यक्ष-ओबीसी आयोग
जयपुर, 09 नवंबर, राजस्थान राज्य अन्य पिछड़ा वर्ग (राजनीतिक प्रतिनिधत्व) आयोग, राजस्थान सरकार के अध्यक्ष न्यायाधीश (सेनि.) श्री मदनलाल भाटी ने राष्ट्रीय विधिक सेवा दिवस के अवसर पर प्रदेशवासियों को शुभकामनाएं प्रदान की। ओबीसी आयोग राजस्थान सरकार के जनसंपर्क अधिकारी विक्रम राठौड़ ने बताया कि श्री भाटी ने अपने संदेश में कहा कि समाज के हाशिए पर पड़े और वंचित वर्गों को निःशुल्क और सक्षम विधिक सेवाएं प्रदान करने के संवैधानिक प्रावधानो की स्मृति में प्रतिवर्ष 9 नवंबर को राष्ट्रीय विधिक सेवा दिवस मनाया जाता है। भारत दुनिया का सबसे बड़ा लोकतंत्र है। भारत का संविधान प्रत्येक नागरिक को समान अधिकार और कानून के तहत समान सुरक्षा की गारंटी देता है। विधिक सेवा प्राधिकरण अधिनियम, 1987 के तहत विधिक सेवा प्राधिकरणों की स्थापना समाज के हाशिए पर पड़े और वंचित वर्गों को निःशुल्क और सक्षम विधिक सेवाएं प्रदान करने के लिए की गई थी।विधिक सहायता की यही मूल भवाना हैं कि आर्थिक या अन्य बाधाओं से जूझ रहे किसी भी नागरिक को न्याय पाने के समान अवसर से वंचित न किया जाए। राष्ट्रीय विधिक सेवा दिवस कानूनी अधिकारों और जिम्मेदारियों के बारे में जागरूकता बढ़ाने के समुचित अवसर प्रदान करने के साथ नागरिकों को निष्पक्ष और सम्मानजनक तरीके से न्याय प्राप्त करने के लिए सशक्त बनाता है साथ ही मानव समुदाय के लिए न्याय तक पहुँच सुनिश्चित करने के लिए एक मंच के रूप में कार्य करता है। इस दिवस का उद्देश्य लोगों को उनके कानूनी अधिकारों के बारे में शिक्षित करना और एक अधिक समतापूर्ण समाज के निर्माण हेतु समाधान तंत्र को बढ़ावा देना है।
आज का दिवस हमें यह याद दिलाता है कि न्याय सबके लिए समान और सुलभ होना चाहिए।














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