GENERAL NEWS

बीकानेर में आयोजित हुआ राजएपिकॉन 2025, टाइप-1 डायबिटीज के नवीन उपचार नेजल एवं इन्हेल्ड इंसुलिन (अफ्रेजा) पर हुआ विशेष मंथन

FacebookWhatsAppTelegramLinkedInXPrintCopy LinkGoogle TranslateGmailThreadsShare


बीकानेर। एसोसिएशन ऑफ फिजिशियंस ऑफ इंडिया (API) राजस्थान चैप्टर की 37वीं वार्षिक राज्य स्तरीय मेडिकल कॉन्फ्रेंस राजएपिकॉन 2025 का दो दिवसीय सफल आयोजन बीकानेर में संपन्न हुआ। सम्मेलन की संयुक्त मेजबानी बीकानेर एकेडमिक रिसर्च एंड वेलफेयर सोसाइटी तथा सरदार पटेल मेडिकल कॉलेज के मेडिसिन विभाग द्वारा की गई।
इस राज्य स्तरीय कॉन्फ्रेंस में आंतरिक चिकित्सा के क्षेत्र में हो रही नवीनतम प्रगति, उन्नत जांच तकनीकों और आधुनिक उपचार प्रोटोकॉल पर व्यापक विमर्श हुआ। विशेष रूप से टाइप-1 डायबिटीज के उपचार में एक नए विकल्प के रूप में नेजल एवं इन्हेल्ड इंसुलिन अफ्रेजा को लेकर वैज्ञानिक तथ्यों, प्रभावशीलता और भविष्य की संभावनाओं पर गहन चर्चा की गई।
सम्मेलन में क्रिटिकल केयर मरीजों से जुड़े जटिल रोगों, हाइपरटेंशन मैनेजमेंट तथा ओबेसिटी की नई दवाओं पर प्रस्तुत रिसर्च को भी प्रमुखता से रखा गया। कार्यक्रम के दौरान विभिन्न सिम्पोजिया, पैनल डिस्कशन, वर्कशॉप्स, फ्री-पेपर सेशंस और अवॉर्ड सेरेमनी आयोजित की गईं, जिनमें विशेषज्ञ चिकित्सकों ने अपने क्लिनिकल अनुभव और शोध आधारित निष्कर्ष साझा किए।कॉन्फ्रेंस में डॉ. शास्त्री द्वारा एसएम पोर्टल आधारित हाइपरटेंशन मैनेजमेंट, डॉ. शैलेष लोढ़ा द्वारा अफ्रेजा इन्हेल्ड इंसुलिन तथा डॉ. एस.के. शर्मा द्वारा ओबेसिटी की नवीन दवाओं पर विशेष व्याख्यान प्रस्तुत किए गए। फ्री-पेपर सेशंस में युवा चिकित्सकों एवं शोधकर्ताओं ने डायबिटीज, हृदय रोग, संक्रामक रोग, ऑन्कोलॉजी और क्रिटिकल केयर जैसे विषयों पर अपनी रिसर्च प्रस्तुत की। इनमें एडवांस्ड इमेजिंग, जेनेटिक टेस्टिंग, टारगेटेड थेरेपी और इम्यूनोथेरेपी जैसे आधुनिक उपचार विकल्पों पर भी विस्तार से चर्चा हुई।
डॉ. सुरेंद्र कुमार वर्मा, प्राचार्य, सरदार पटेल मेडिकल कॉलेज, बीकानेर ने बताया कि राजएपिकॉन 2025 जैसे सम्मेलन चिकित्सकों को एक साझा मंच प्रदान करते हैं, जहां नवीनतम रिसर्च, आधुनिक उपचार पद्धतियों और क्लिनिकल अनुभवों का आदान-प्रदान होता है। टाइप-1 डायबिटीज के लिए इन्हेल्ड इंसुलिन जैसे नए विकल्प भविष्य में मरीजों की जीवन-गुणवत्ता को बेहतर बनाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभा सकते हैं।
डॉ. परमेंद्र सिरोही, आयोजन सचिव, राजएपिकॉन 2025 ने बताया कि इस सम्मेलन में 500 से अधिक चिकित्सकों की सक्रिय सहभागिता रही और 78 से अधिक विशेषज्ञों ने अपने व्याख्यान प्रस्तुत किए। हमारा उद्देश्य था कि प्रदेश के चिकित्सक वैश्विक स्तर पर हो रहे मेडिकल इनोवेशन और नई दवाओं से सीधे जुड़ सकें, ताकि मरीजों को बेहतर और आधुनिक उपचार उपलब्ध कराया जा सके।

FacebookWhatsAppTelegramLinkedInXPrintCopy LinkGoogle TranslateGmailThreadsShare

About the author

THE INTERNAL NEWS

Add Comment

Click here to post a comment

error: Content is protected !!