वो जल्लाद जिसने मुर्दाघर में 100 से ज्यादा महिलाओं-लड़कियों के शवों से बनाए संबंध
एक इलेक्ट्रीशियन, जिसे बाद में हत्या का दोषी ठहराया गया था, वह 15 साल तक मुर्दाघर में 100 से अधिक महिलाओं के साथ यौन संबंध बनाता रहा और इसकी भनक तक किसी को नहीं लगी. ये खौफनाक कहानी ब्रिटेन की है. घटना को लेकर 308 पन्नों की जांच रिपोर्ट में चौंकाने वाली बात पता चली है.
डेविड फुलर, फोटो – केंट पुलिस
ये दिल दहला देने वाली कहानी है डेविड फुलर की, जिसने 100 से ज्यादा महिलाओं और लड़कियों के शव के साथ यौन संबंध बनाया. दरअसल यह एक बीमारी है, जिससे ग्रसित शख्स लाश के साथ सेक्स करने में खुद को आनंदित महसूस करता है. इस बीमारी को ‘नेक्रोफीलिया’ कहते हैं.
फुलर ‘नेक्रोफिलिया’ से ग्रसित है, इस बात का खुलासा 2020 में हुआ, जब पुलिस एक दूसरे मामले की जांच कर रही थी. मामला था 1987 में दो महिलाओं की हत्या से जुड़ा. डेविड की भूमिका की जांच जब शुरू हुई तो उसकी डीएनए का सैंपल लिया गया. इसी दौरान उसके ‘नेक्रोफिलिया’ से उसके ग्रसित होने का पता चला.
तब जांच कर रहे अधिकारियों को डेविड के घर से ऐसी लाखों तस्वीरें मिली, जिनमें वह महिलाओं के साथ यौन शोषण करता दिख रहा था. इसी में वह वीडियो भी थी, जहां वह मुर्दाघर में महिलाओं और लड़कियों के साथ यौन संबंध बनाता हुआ दिखाई दिया. ये तस्वीरें दक्षिणपूर्व इंग्लैंड के अस्पतालों के मुर्दाघरों की थीं. डेविड यहां काम किया करता था.
अब उम्रकैद की सजा काट रहा
हत्या के दो मामलों में दोषी ठहराए जाने के बाद अब 69 साल के फुलर की रिहाई की कोई संभावना नहीं है. वह आजीवन कारावास की सजा काट रहा है. ब्रिटेन की सरकार ने 308 पन्ने की जो जांच की है, उसका मकसद ये जानना है कि डेविड यह सबकुछ किस तरह कर पा रहा था. साथ ही वह कभी किसी की निगाह में क्यों नहीं आया. रिपोर्ट में यह भी बताया गया हे कि किस तरह आगे ऐसी घटनाओं को होने से रोका जा सकता है.
फुलर के काले कारनामों का इतिहास
फुलर शुरुआत ही से एक कुख्यात चोर रहा लेकिन वह जहां भी काम करने जाता, अपने आपराधिक रिकॉर्ड को छुपाता. यही चालाकी उसकी अस्पताल प्रशासन की निगाह में नहीं आई और वह काम के लिए रख लिया गया. अब वह ससेक्स अस्पताल बंद हो चुका है जहां उसने 1987 में दो महिलाओं की हत्या कर दी थी. 33 साल तक दो हत्याओं का वह मामला हल नहीं हो सका क्योंकि फुलर ने बहुत जल्द हत्या के बाद उस अस्पताल को बदल दिया था.
ब्रिटिश सरकार की जांच में क्या निकला
ब्रिटिश सरकार ने अपनी जांच में पाया है कि फुलर ने 2005 से लेकर 2020 के बीच यानी तकरीबन 15 सालों में कम से कम 101 लड़कियों और महिलाओं की लाशों के साथ घृणित काम किया. ब्रिटिश जांच एजेंसी ने सभी अपराधों के फोटो और वीडियो भी सबूत के तौर पर पेश किए हैं. रिपोर्ट में यह भी कहा गया है कि फुलर काम के घंटों ही के दौरान अपने अपराधों को अंजाम देता था, वह भी तब जब कई कर्मचारी मुर्दाघर में होते थे. हालांकि, जांच में यह पता नहीं चल सका कि वह आखिर पकड़ में क्यों नहीं आया.
बेहद शातिर था डेविड फुलर
डेविड फुलर शातिर इतना था कि वह पहले लॉग बुक देख लेता था कि किस महिला या लड़की की जान किस वजह से गई है. दिलचस्प बात ये थी कि उसने उन लोगों के साथ यौन संबंध बनाने से परहेज किया जिसके बारे में उसे पता चल जाता था कि अमुख महिला या लड़की की जान किसी इंफेक्शन की वजह से गई है.
Add Comment