NEET विवाद- सुप्रीम कोर्ट का NTA को नोटिस:कहा- 0.001% भी गड़बड़ी हुई है तो एक्शन लें, बच्चों की मेहनत को नहीं भूल सकते
नई दिल्ली
NEET में गड़बड़ी के खिलाफ 15 जून को देशभर में प्रदर्शन हुए थे। तस्वीर पटना की है।
सुप्रीम कोर्ट में NEET UG विवाद पर ग्रेस मार्क्स से जुड़ी याचिका पर मंगलवार को सुनवाई हुई। यह केस जस्टिस विक्रम नाथ और जस्टिस एसवी भट्टी की वैकेशन बेंच के सामने रखा गया। कोर्ट ने कहा- अगर किसी की ओर से 0.001% भी लापरवाही हुई है तो उससे पूरी तरह निपटा जाना चाहिए। बच्चों ने परीक्षा की तैयारी की है, हम उनकी मेहनत को नहीं भूल सकते हैं।
बेंच ने सरकार और NTA से यह भी कहा कि कल्पना कीजिए कि सिस्टम के साथ धोखाधड़ी करने वाला व्यक्ति डॉक्टर बन जाता है, वह समाज के लिए और भी ज्यादा खतरनाक है।
घोटाले से जुड़ी याचिकाओं को 8 जुलाई को सुनवाई के लिए लिस्ट कर दिया गया है। वकीलों से भी उसी दिन सभी मामलों पर बहस करने के निर्देश दिए हैं।
इससे पहले 11 जून को तीन याचिकाओं पर सुनवाई करते हुए सुप्रीम कोर्ट ने NTA को नोटिस जारी किया था और काउंसलिंग प्रक्रिया रोकने से इनकार कर दिया था।
13 जून को सुप्रीम कोर्ट में केंद्र सरकार ने कहा था कि ग्रेस मार्क्स पाने वाले 1563 कैंडिडेट के स्कोर कार्ड निरस्त होंगे और बिना ग्रेस मार्क्स के स्कोर कार्ड जारी किए जाएंगे।
4 जून को नेशनल टेस्टिंग एजेंसी (NTA) ने NEET का रिजल्ट घोषित किया था। पहली बार ऐसा हुआ है जब 67 कैंडिडेट को 720 में से 720 नंबर मिले हैं।
कोर्ट रूम लाइव…
जस्टिस नाथ (वकील से) : आप सभी मामलों पर 8 को बहस करें।
याचिकाकर्ता के वकील : मैं केवल यह अपील कर रहा हूं कि जांच कहां तक पहुंची उसका स्टेटस बताया जाए।
जस्टिस नाथ : सभी पार्टीज को मामले से जोड़ा जाए, इसे 8 जुलाई को लिस्ट करें। NTA और सरकार भी 2 हफ्ते में जवाब देगी।
जस्टिस भट्टी : अगर किसी से भी लापरवाही हुई है तो उससे पूरी तरह निपटा जाना चाहिए। स्पष्ट रूप से हम प्रतिक्रिया करते हैं, लेकिन छुट्टियों में यह थोड़ा स्लो प्रोसेस होता है।
याचिकाकर्ता : उन्हें जांच को रिकॉर्ड पर रखना चाहिए।
जस्टिस भट्टी : अगली सुनवाई में आप सारे खुलासे कर सकते हैं।
सुप्रीम कोर्ट में 4 याचिकाएं, जानिए इनमें अब तक क्या हुआ
- पहली: स्टूडेंट शिवांगी मिश्रा और 9 अन्य छात्रों ने रिजल्ट की घोषणा से पहले 1 जून को दायर की। काउंसलिंग पर रोक लगाने के साथ परीक्षा रद्द कर जांच की मांग की गई। सुप्रीम कोर्ट ने काउंसलिंग पर रोक लगाने से इनकार कर दिया।
- दूसरी: पिटिशनर हितेश सिंह कश्यप ने दायर की। गुजरात के गोधरा में जय जल राम परीक्षा सेंटर को चुनने के लिए कर्नाटक, ओडिशा, झारखंड आदि राज्यों में 26 छात्रों ने 10-10 लाख रुपए घूस दी थी। याचिका में पेपर लीक की CBI जांच की मांग की गई है। सुनवाई 8 जुलाई को होगी।
- तीसरी: फिजिक्सवाला के को फाउंडर अलख पांडेय ने 1563 स्टूडेंट को ग्रेस मार्क्स दिए जाने के खिलाफ याचिका लगाई। 13 जून को सुनवाई हुई। NTA ने कहा- 1563 स्टूडेंट्स के ग्रेस मार्क्स रद्द कर दिए जाएंगे। सभी स्टूडेंट्स के रिजल्ट बिना ग्रेस मार्क्स के जारी किए जाएंगे। ये फिर से एग्जाम दे सकते हैं।
- चौथी: 20 स्टूडेंट्स ने परीक्षा को रद्द करने और फिर से एग्जाम कराने की अपील की। साथ ही इस मामले की जांच CBI या किसी दूसरी स्वतंत्र एजेंसी से सुप्रीम कोर्ट की निगरानी में कराए जाने की मांग की।
NEET UG क्या है
NEET UG यानी नेशनल एलिजिबिलिटी कम एंट्रेस टेस्ट, अंडरग्रेजुएट एक राष्ट्रीय स्तर की प्रवेश परीक्षा है। NEET परीक्षा मेडिकल और डेंटल कोर्सेज में एडमिशन के लिए आयोजित की जाती है जो स्टूडेंट्स की गिनती के लिहाज से देश की सबसे बड़ी परीक्षा है।
इसके जरिए भारत और रूस, यूक्रेन समेत कुछ अन्य देशों में MBBS, BDS और अन्य मेडिकल कोर्सेज में एडमिशन मिलता है। NEET UG को नेशनल टेस्टिंग एजेंसी यानी NTA द्वारा आयोजित किया जाता है।
रिजल्ट के बाद विवाद क्यों हुआ
NEET की इन्फॉर्मेशन बुलेटिन में ग्रेस मार्किंग का जिक्र नहीं है। NTA ने भी रिजल्ट जारी करते वक्त इसकी जानकारी नहीं दी थी। रिजल्ट आने के बाद कैंडिडेट्स ने सवाल उठाए, तब NTA ने बताया कि ‘लॉस ऑफ टाइम’ की वजह से कुछ बच्चों को ग्रेस मार्क दिए गए हैं। ग्रेस मार्क किस फॉर्मूले के तहत दिए गए, इस बारे में NTA ने कुछ नहीं बताया।
18 जून को आम आदमी पार्टी ने जंतर मंतर पर NEET विवाद को लेकर प्रदर्शन किया।
1563 कैंडिडेट्स की 23 जून को दोबारा परीक्षा हालांकि विवाद कोर्ट तक पहुंचने के बाद NTA ने 13 जून को सुप्रीम कोर्ट में बताया था कि ग्रेस मार्क्स पाने वाले 1563 कैंडिडेट के स्कोर कार्ड निरस्त होंगे। 23 जून को दोबारा एग्जाम कराया जाएगा। 30 जून को रिजल्ट आएगा। जो स्टूडेंट एग्जाम न देना चाहें, उसके मार्क्स से ग्रेस मार्क्स माइनस करने के बाद फाइनल स्कोर कार्ड जारी किया जाएगा। पूरी खबर पढ़ें
सरकार ने कहा था- पेपर लीक के कोई सबूत नहीं
केंद्रीय शिक्षामंत्री धर्मेंद्र प्रधान ने 13 जून को पेपर लीक के आरोपों को खारिज करते हुए कहा था कि इसका कोई सबूत नहीं है। उन्होंने प्रेस कॉन्फ्रेंस में कहा, ‘NTA पर भ्रष्टाचार के आरोप निराधार हैं। यह एक बहुत ही विश्वसनीय संस्था है। सुप्रीम कोर्ट इस मामले की सुनवाई कर रहा है और हम उसके निर्णय का पालन करेंगे। हम यह सुनिश्चित करेंगे कि किसी भी छात्र को नुकसान न हो।’
कांग्रेस का आरोप- छात्रों के भविष्य से हुए खिलवाड़ पर भी नरेंद्र मोदी चुप
राहुल गांधी ने एक बार फिर भाजपा सरकार पर आरोप लगाया है। उन्होंने X पर एक पोस्ट में लिखा कि NEET परीक्षा में 24 लाख से अधिक छात्रों के भविष्य के साथ हुए खिलवाड़ पर भी नरेंद्र मोदी हमेशा की तरह मौन धारण किए हुए हैं।
राजस्थान हाईकोर्ट में भी आज सुनवाई
NEET के रिजल्ट में गड़बड़ी को लेकर दिल्ली हाईकोर्ट समेत 7 हाईकोर्ट में याचिकाएं दायर हुई हैं। मामला अब सुप्रीम कोर्ट में है। इन सभी याचिकाओं पर 8 जुलाई को सुनवाई होगी। इनमें पेपर लीक और CBI जांच की मांग वाली याचिकाएं भी शामिल हैं।
हालांकि, राजस्थान हाईकोर्ट में भी आज NEET से जुड़े एक मामले की भी सुनवाई होगी। यह याचिका अभ्यर्थी तनुजा यादव ने लगाई थी। तनुजा ने याचिका में कहा है कि परीक्षा के दौरान उन्हें पेपर आधे घंटे देरी से मिला और उसे पूरा करने के लिए टाइम नहीं दिया गया। उनका दावा है कि उन्हें ग्रेस मार्क्स भी नहीं दिए गए।
NEET विवाद से जुड़ी ये खबरें भी पढ़ें…
सुप्रीम कोर्ट का NEET काउंसलिंग पर रोक लगाने से इनकार
सुप्रीम कोर्ट ने मंगलवार को NEET काउंसलिंग पर रोक लगाने से इनकार कर दिया। सुप्रीम कोर्ट की बेंच ने परीक्षा कराने वाली संस्था नेशनल टेस्टिंग एजेंसी यानी NTA को नोटिस जारी करते हुए कहा- NEET UG की विश्वसनीयता प्रभावित हुई है। हमें इसका जवाब चाहिए।
ये याचिका स्टूडेंट शिवांगी मिश्रा और 9 अन्य छात्रों ने रिजल्ट की घोषणा से पहले 1 जून को दायर की थी। इसमें बिहार और राजस्थान के एग्जाम सेंटर्स पर गलत क्वेश्चन पेपर्स बंटने के चलते हुई गड़बड़ी की शिकायत की गई थी और परीक्षा रद्द कर SIT जांच की मांग की गई थी।
सुप्रीम कोर्ट में दावा- किसी की आंसरशीट फटी मिली, कोई बोर्ड में फेल मगर NEET में 705 नंबर
NEET-UG में ग्रेस अंक विवाद अब सुप्रीम कोर्ट पहुंच गया है। इस याचिका में रिजल्ट वापस लेने और दोबारा परीक्षा कराने की मांग की गई है। इसमें कहा गया है कि रिजल्ट में ग्रेस मार्क्स देना NTA का मनमाना फैसला है। स्टूडेंट्स को 718 या 719 मार्क्स देने का कोई मैथमेटिकल आधार नहीं है।
Add Comment