बीकानेर।राजस्थान सरकार ने बीकानेर जिले की ग्राम पंचायत जसरासर के सरपंच और प्रशासक रामनिवास तर्ड को उनके पद से हटा दिया है। यह सख्त कार्रवाई सरकारी नियमों की अवहेलना कर पट्टे जारी करने, पंचायत रिकॉर्ड में अनियमितता और प्रक्रिया की अवहेलना के गंभीर आरोपों के बाद की गई है।
ग्रामीण विकास एवं पंचायती राज विभाग (पंचायती राज) की जांच में सामने आया कि रामनिवास तर्ड और ग्राम विकास अधिकारी बजरंग लाल ने पट्टे वितरण में सरकारी प्रक्रिया की घोर अनदेखी की। जांच रिपोर्ट में यह तथ्य सामने आए कि पट्टे पंच कमीशन की अपूर्ण रिपोर्ट के आधार पर जारी किए गए, आपत्ति नोटिस बिना गवाहों के हस्ताक्षर करवाए चस्पा किए गए, पट्टों का सीमाज्ञान नहीं करवाया गया, राजस्थान पंचायती राज नियम 1996 के नियम 161 का पालन नहीं किया गया, सरपंच ने ग्राम पंचायत का रिकॉर्ड अनाधिकृत तरीके से कार्यालय से बाहर रखा, विधिवत रिकॉर्ड संधारण की प्रक्रिया का पालन नहीं किया गया।
इन गंभीर अनियमितताओं को लेकर जांच समिति ने सरपंच रामनिवास तर्ड और ग्राम विकास अधिकारी बजरंग लाल को दोषी ठहराया है।
गौरतलब है कि रामनिवास तर्ड को 21 जनवरी 2025 को जिला कलेक्टर बीकानेर द्वारा ग्राम पंचायत जसरासर का प्रशासक नियुक्त किया गया था। परंतु अब राज्य सरकार ने उन्हें प्रशासक पद से भी पदच्युत करने का फैसला लिया है।
कुछ स्थानीय सूत्रों का कहना है कि पंचायत में हुए पट्टों को लेकर पहले भी कई बार शिकायतें की गई थीं, लेकिन अब जाकर राज्य सरकार ने ठोस कदम उठाया है।
अब देखना यह होगा कि विभाग ग्राम विकास अधिकारी बजरंग लाल के खिलाफ क्या अनुशासनात्मक कदम उठाता है और ग्राम पंचायत जसरासर में प्रशासकीय जिम्मेदारी किसे सौंपी जाएगी।
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