ग्रेड थर्ड टीचर ने सरकार के खिलाफ शुरू किया महा-आंदोलन:बोले- अबकी बार मांग पूरी नहीं की, तो चुनाव में भुगतने पड़ेंगे परिणाम
जयपुर के शदीद स्मारक पर धरने पर बैठे प्रदेशभर के थर्ड ग्रेड टीचर्स।
राजस्थान में पिछले 4 साल से ट्रांसफर का इंतजार कर रहे ग्रेड थर्ड टीचर्स ने सरकार के खिलाफ मोर्चा खोल दिया है। बुधवार को जयपुर के शहीद स्मारक पर बड़ी संख्या में ग्रेड थर्ड टीचर्स ने धरना दिया। उन्होंने कहा कि अगर सरकार ने जल्द से जल्द नई पॉलिसी के तहत हमारे ट्रांसफर नहीं किए। तो कांग्रेस सरकार को आने वाले चुनाव में इसका खामियाजा भुगतना पड़ेगा।
ग्रेड थर्ड टीचर्स के ट्रांसफर की मांग को लेकर आमरण अनशन पर बैठे सुनील मेहला और सूरजभान ने बताया कि सरकार ने चुनाव के वक्त हमसे ट्रांसफर का वादा किया था। लेकिन 4 साल का वक्त बीत गया है। अब तक सरकार ने अपना वादा पूरा नहीं किया। बल्कि हर बाहर नई तारीख देकर हमें बनाने की कोशिश की है। जिसे हम किसी भी सूरत में अब बर्दाश्त नहीं करेंगे। इस बार जब तक ट्रांसफर का फैसला नहीं हो जाता तब तक हम हमारा अनशन खत्म नहीं करेंगे।
तैयार हुई नै ट्रांसफर पॉलिसी
राजस्थान के शिक्षा मंत्री बीडी कल्ला ने बताया कि शिक्षा विभाग ने ग्रेड थर्ड टीचर्स के ट्रांसफर के लिए नई ट्रांसफर पॉलिसी बनाई है। जिसे शिक्षा विभाग ने अप्रूवल के लिए मुख्य सचिव को भेज दी है। ऐसे में CM अशोक गहलोत द्वारा नई पॉलिसी अप्रूव होने के बाद ने सिरे से ट्रांसफर के लिए आवेदन मांगे जाएगे। वहीं नई शिक्षा नीति के तहत, जो भी टीचर उसके अंतर्गत आएगा। उनको ही ट्रांसफर में राहत दी जाएगी।
12 सालों में केवल 2 बार हुए ट्रांसफर
राजस्थान में ग्रेड थर्ड टीचर्स का ट्रांसफर पिछले 12 साल में सिर्फ दो बार हुए हैं। 2010 में कांग्रेस सरकार ने जबकि 2018 में बीजेपी सरकार ग्रेड थर्ड टीचर्स के ट्रांसफर कर चुकी है। इसके बाद कांग्रेस सरकार ने 2021 में थर्ड ग्रेड टीचर्स के ट्रांसफर की आवेदन मांगे थे। लेकिन अब तक टीचर्स के ट्रांसफर को लेकर कोई पॉलिसी तैयार नहीं हो पाई है। जिसकी वजह से सरकार बनने के 3 साल से ज्यादा वक्त बीत जाने के बाद भी 85 हजार से ज्यादा टीचर अपने ट्रांसफर का इंतजार कर रहे हैं।
85 हजार ने किया था ट्रांसफर के लिए आवेदन
राजस्थान में पिछले साल अगस्त महीने में शाला दर्पण पर टीचर्स से ट्रांसफर के लिए ऑनलाइन आवेदन मांगे गए थे। जिसमें प्रदेश के 2.25 लाख टीचर्स में से 85 हजार ने अपने गृह जिले में आने के लिए आवेदन किया था। लेकिन 13 महीने का वक्त बीत जाने के बाद भी टीचर्स के ट्रांसफर नहीं हुए थे। वहीं ट्रांसफर पर रोक लगने के बाद अब ग्रेड थर्ड टीचर्स ने सरकार के खिलाफ आर-पार की लड़ाई का ऐलान कर दिया है।

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