जयपुर में चुनाव से पहले बम ब्लास्ट की साजिश:पुलिस ने रोका तो दिया 20 लाख का ऑफर, सूफा को इंटरनेशनल टेररिस्ट संगठन बनाने की प्लानिंग
REPORT BY SAHIL PATHAN
तीन दिन पहले निंबाहेड़ा (चित्तौड़गढ़) में पकड़े गए आतंकी बड़ी साजिश को अंजाम देने वाले थे। इसके लिए रतलाम से यह 12 किलो आरडीएक्स जयपुर में अपने किसी दूसरे साथी तक पहुंचाने जा रहे थे। बताया जा रहा है कि आतंकी चुनाव से पहले ब्लास्ट करने की प्लानिंग कर रहे थे। इसी ब्लास्ट से वह अपने संगठन ‘सूफा’ को अंतरराष्ट्रीय स्तर पर पहचान दिलाना चाहते थे। आरडीएक्स ले जा रहे आतंकियों को जब पुलिस ने रोका तो उन्होंने पुलिस को लालच भी दिया।
दरअसल, निंबाहेड़ा पुलिस ने बुधवार को सूफा आतंकी संगठन से जुड़े हुए तीन लोगों को गिरफ्तार किया था। इसकी जांच आगे एटीएस जयपुर कर रही है।
थानाधिकारी से कहा- मुंह मांगी रकम बोलो
बताया जा रहा है कि पकड़े गए आतंकी जुबेर, सेफू और अल्तमस तीनों ने पुलिस को दो बार लाखों रुपए का लालच भी दिया था। कार को रोकते ही आरोपियों ने पांच लाख रुपए का ऑफर दिया। इस बात को सुनते ही पुलिसकर्मी चौंक गए। पुलिस को लगा कि शायद कोई डोडा-चूरा या अफीम छुपा रखी है। इसीलिए यह ऑफर दिया जा रहा है। जब तलाशी ली तो डोडा- चूरा नहीं मिला।
पुलिस को सख्ती से पूछताछ करते देख आरोपियों ने फिर से 20 लाख रुपए का लालच दिया। पुलिस को शक हुआ कि ऐसा क्या है, जिसके कारण इतने लाखों का ऑफर दिया जा रहा है। कार की तलाशी ली तो आरडीएक्स समेत कई सामान मिले। इसके अलावा थाने में भी थाना अधिकारी को मुंह मांगी रकम बोलने के लिए कहा गया था।
तलाशी में मिली थी गेती, ईंट के टुकड़े
तलाशी में पुलिस को खोदने के लिए गेती, ईंट के टुकड़े सब मिले थे। ताकि विस्फोटक को पुलिया के नीचे दबाने में दिक्कत ना हो। यह लोकेशन आला कमान को भेजने के बाद अगली टीम जयपुर से पहुंचकर उसे निकाल बम बनाने वाले थे। अब बम कहां और कब बनाया जाने वाला था। कहां-कहां प्लांट किया जाना था, इसकी जांच की जा रही है।
इमरान और सेफू सगे भाई
गिरफ्तार हुए तीनों आतंकी जुबेर, सेफू और अल्तमस तीनों अल सूफा संगठन से जुड़े है। 2013 में जुड़ने के बाद यह संगठन कुछ समय तक निष्क्रिय रहा। लेकिन, एक बार फिर चुनाव आने से पहले यह एक्टिव हो गया।तलाशी के दौरान कार की डिक्की से इमरान अंसारी के नाम से कार की आरसी मिली। पूछताछ में पता चला संगठन का अध्यक्ष इमरान अंसारी पकड़े गए आरोपी सेफुद्दीन उर्फ सेफ़ू का सगा भाई है। सेफुद्दीन प्रॉपर्टी का बिजनेस करता है। वही जुबेर सब्जी रिटेलर है। अल्तमस एक धनाढ्य परिवार से है।
3 महीने पहले संदिग्ध की आमीन से हुई थी बात
वहीं, सावा गांव से पकड़ा गया संदिग्ध व्यक्ति अरमान से अभी भी पूछताछ चल रही है। अरमान ने पुलिस को बताया कि वह इस मामले में ज्यादा कुछ नहीं जानता है। उसने 3 महीने पहले संगठन के उप कप्तान आमीन से फोन पर बात की थी। पुलिस को शक है की अरमान का इससे कुछ लिंक है।
आतंकियों का उदयपुर कनेक्शन
इस मामले की जांच में उदयपुर कनेक्शन सामने आया है। एटीएस ने टोंक से कुछ लोगों को पकड़ा है, जिसमें एक का नाम मुजीब है और वह उदयपुर में गाइड का काम करता है। हालांकि अभी पुलिस ने इस संगठन में उसके रोल का खुलासा नहीं किया है। यह बात स्पष्ट है कि निम्बाहेड़ा, नीमच, मंदसौर, जावरा, रतलाम के अपराधियों का अक्सर उदयपुर नेटवर्क सामने आता है। अक्सर वहां के अपराधी यहां फरारी काटने के लिए आते हैं।
टीम का बढ़ाया हौसला
डीजीपी एमएल लाठर, एटीएस और एसओजी के आईपीएस अशोक राठौड़ ने निंबाहेड़ा के टीम तारीफ की और उनका हौसला अफजाई किया। निम्बाहेड़ा में पकड़ने वाली टीम हेड कॉन्स्टेबल प्रमोद कुमार, सुंदर पाल, कॉन्स्टेबल नरेश कुमार, हरविंदर सिंह को उन्होंने बधाई दी और कहा फर्क है।




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