संसद घुसपैठ केस के आरोपियों के फोन बरामद:दिल्ली पुलिस को राजस्थान से जले हुए टुकड़े मिले, मास्टरमाइंड ललित लेकर भागा था
नई दिल्ली

दिल्ली पुलिस की इन्वेस्टिगेशन टीम ने फोन के टुकड़ों को राजस्थान से बरामद किया। इसके साथ ही वो जगह भी ढूंढ निकाली, जहां सभी फोन जलाए गए थे।
संसद घुसपैठ केस की जांच कर रही दिल्ली पुलिस ने रविवार को सभी आरोपियों के फोन बरामद कर लिए। हालांकि ये फोन पूरी तरह से जले हुए हैं।
दिल्ली पुलिस की इन्वेस्टिगेशन टीम ने फोन के टुकड़ों को राजस्थान से बरामद किया। हालांकि पुलिस ने राजस्थान में उस जगह का नाम नहीं बताया, जहां फोन जलाए गए।
ये सभी फोन संसद घुसपैठ घटना में शामिल आरोपियों के हैं। 13 दिसंबर को घटना वाले दिन के बाद मुख्य आरोपी ललित झा सभी के फोन लेकर राजस्थान के नागौर भाग गया था। बाद में ललित ने 14 दिसंबर को पुलिस के सामने सरेंडर कर दिया। पूछताछ में फोन को जलाने की बात कबूली थी।
अब देखिए जले हुए फोन की 3 तस्वीरें…

दिल्ली पुलिस ने राजस्थान से आरोपियों के जले हुए फोन बरामद किए।

यह वो जगह है, जहां आरोपी ललित झा ने सभी फोन को जलाया।

जले हुए फोन के कुछ टुकड़े दूर-दूर तक फैले मिले।
संसद में घुसपैठ मामले में अब तक 6 आरोपी अरेस्ट
लोकसभा में घुसपैठ मामले में शनिवार 16 दिसंबर को एक और आरोपी महेश कुमावत को गिरफ्तार कर लिया गया। पुलिस ने उसे पटियाला हाउस कोर्ट में पेश किया जहां से उसे 7 दिन के लिए पुलिस हिरासत में सौंप दिया गया।
मामले में अब तक छह लोग पकड़े गए हैं। 13 दिसंबर को 4 आरोपी पकड़े गए थे। ललित झा ने 14 दिसंबर को सरेंडर किया था। मामले में विकी शर्मा और उसकी पत्नी राखी को हिरासत में लेकर पूछताछ की गई थी, बाद में उन्हें छोड़ दिया गया। विकी के गुड़गांव स्थित घर पर ही चार आरोपी रुके थे।
संसद के अंदर सात स्मोक कैन लेकर गए थे आरोपी
दिल्ली पुलिस के सूत्रों के मुताबिक, लोकसभा की दर्शक दीर्घा से कूदने वाले सागर शर्मा और मनोरंजन एक या दो नहीं, बल्कि 7 स्मोक केन (धुआं फैलाने वाला उपकरण) लेकर गए थे।
पुलिस की तरफ से ये भी बताया गया है कि आरोपियों ने संसद के आसपास के इलाके की गूगल के जरिए रेकी की थी। वे लोग कई चीजों से वाकिफ थे। यही नहीं, संसद का सिक्योरिटी अरेंजमेंट पता करने के लिए उन्होंने पुराने वीडियोज भी देखे थे।

13 दिसंबर को संसद पर हमले की 22वीं बरसी पर लोकसभा में घुसपैठ हुई थी।
आत्मदाह का भी प्लान था, बाद में बदला
जांच से जुड़े दिल्ली पुलिस के एक अधिकारी ने न्यूज एजेंसी PTI को बताया, आरोपियों ने संसद में कूदने से पहले कुछ दूसरे प्लान भी बनाए थे। एक आरोपी ने संसद के बाहर आत्मदाह करने के बारे में सोचा था। बाद में मन बदल दिया। यही नहीं, आरोपियों ने संसद के अंदर पर्चे बांटने पर भी विचार किया था।
सिग्नल ऐप पर करते थे बातचीत
पुलिस के मुताबिक, आरोपियों ने ये तरीका भी सर्च किया था कि आपस में ऐसे कौन से तरीके से चैट की जा सकती है, जिसे पुलिस ना पकड़ पाए। सभी आरोपी आपस में बात करने के लिए सिग्नल ऐप का इस्तेमाल करते थे, ताकि वे किसी की गिरफ्त में ना आएं।
दिल्ली पुलिस के सूत्रों ने ये भी बताया कि आरोपियों का सबसे बड़ा मकसद मीडिया में चर्चित होना था, इसलिए सत्र के दौरान संसद में प्रवेश की योजना तैयार की गई।
संसद के अंदर सीन रिक्रिएट कर सकती है पुलिस
अधिकारी ने बताया कि स्पेशल सेल की काउंटर इंटेलिजेंस टीम ने इस मामले में कर्नाटक से भाजपा सांसद प्रताप सिम्हा का बयान दर्ज करने की भी योजना बनाई है। शुक्रवार 15 दिसंबर की देर रात इन्वेस्टिगेशन टीम आरोपियों को उन स्थानों पर ले गई, जहां वे मिले थे और उल्लंघन की साजिश रची थी। उधर, सीन रिक्रिएट करने के लिए पुलिस संसद की अनुमति भी मांग सकती है।
13 दिसंबर को लोकसभा में घुसपैठ हुई थी
संसद पर आतंकी हमले की 22वीं बरसी पर 13 दिसंबर को लोकसभा में विजिटर्स गैलरी से 2 युवक अचानक नीचे कूद गए। उस समय लोकसभा में बीजेपी सांसद खगेन मुर्मू अपनी बात रख रहे थे। युवक सदन की बेंच पर कूदते हुए आगे बढ़ने लगे। इसी बीच उन्होंने जूते से निकालकर कुछ स्प्रे किया, जिससे सदन में पीला धुआं फैलने लगा। इससे पूरे सदन में भगदड़ मच गई। खालिस्तानी आतंकी गुरपतवंत सिंह पन्नू ने संसद पर हमले की धमकी दी थी। इसके बाद से ही दिल्ली पुलिस अलर्ट पर थी। फिर भी 5 लेयर सुरक्षा तोड़कर लोकसभा में प्रदर्शनकारी घुसे और हंगामा किया।
लोकसभा में प्रदर्शन कर रहे युवकों को कुछ सांसदों ने घेरकर पकड़ लिया। बाद में सुरक्षाकर्मियों ने दोनों सागर शर्मा (लखनऊ) और डी मनोरंजन (मैसुरु) को गिरफ्तार कर लिया। कांग्रेस सांसद गुरजीत सिंह औजला ने बताया, “मैंने हंगामा करने वाले को सबसे पहले पकड़ा।
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