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पुतिन की प्राइवेट आर्मी! पर्दे के पीछे से करती थी शिकार, किसी रेकॉर्ड में दर्ज नहीं नाम, यूक्रेन में आतंक मचा रहा खूंखार वैगनर ग्रुप

हाइलाइट्स

  • भाड़े के सैनिक मुहैया करवाता है रूस का वैगनर ग्रुप
  • किसी रेकॉर्ड में दर्ज नहीं है नाम, कई अत्याचार के आरोप
  • खुफिया तरीके से करता था काम, यूक्रेन में खुलकर आया सामने

मॉस्को : रूस-यूक्रेन युद्ध शुरू होने के बाद से ‘वैगनर ग्रुप’ के बारे में बार-बार सुनने को मिल रहा है। किराए पर फाइटर्स देने वाला एक रूसी नेटवर्क जिसका कागजों और दस्तावेजों में कहीं कोई जिक्र नहीं है। न ही यह ग्रुप टैक्स रिटर्न फाइल करता है, इसके कथित समर्थक ग्रुप के साथ अपने किसी तरह के कनेक्शन से इनकार करते हैं और आधिकारिक रूप से रूस में प्राइवेट मिलिट्री कंपनियां अवैध हैं। अल जजीरा की एक रिपोर्ट में इस खुफिया ग्रुप के बारे में जानकारी दी गई है। कई खबरों में दावा किया जा चुका है कि पुतिन वैगनर ग्रुप के लड़ाकों का इस्तेमाल यूक्रेन के खिलाफ जंग में कर रहे हैं

मारत गैबिडुलिन ने अल जजीरा को बताया, ‘भाड़े के सैनिक आधिकारिक नहीं होते इसलिए उनके पास सैनिकों के समान अधिकार या गारंटी नहीं होती और उन्हें सिर्फ मिशन पूरा करने के बाद ही भुगतान किया जाता है।’ उन्होंने कहा, ‘आपने मिशन पूरा किया, अपना पैसा लिया और आप छुट्टी पर जा सकते हैं।’ रूसी और यूक्रेनी मीडिया के अनुसार गैबिडुलिन वैगनर ग्रुप के इकलौते पूर्व भाड़े के सैनिक हैं जो सार्वजनिक रूप से अपने अनुभवों को बताने के लिए सामने आए हैं।
2014 में बना था वैगनर ग्रुप
रिपोर्ट के अनुसार वह अब दक्षिणी फ्रांस में रहते हैं। उनका कहना है कि वह शरण लेने की प्रक्रिया में हैं और अपने अनुभवों के बारे में एक किताब लिख चुके हैं। साल 2014 में इंटेलिजेंस ऑफिसर दिमित्री उत्किन ने यूक्रेनी अलगाववादियों को समर्थन देने के लिए वैगनर ग्रुप की स्थापना की थी। तब से यह ग्रुप अफ्रीका से लेकर मिडिल ईस्ट में रूस और उसके सहयोगियों के हितों का प्रतिनिधित्व कर चुका है। इस समूह ने सीरिया के गृह युद्ध में राष्ट्रपति बशर अल-असद की ओर से हिस्सा लिया था।

‘पुतिन का शेफ’ है वैगनर ग्रुप का मुखिया
वैगनर ग्रुप के लड़ाकों पर कई तरह के अत्याचार के आरोप लग चुके हैं। कभी पर्दे के पीछे से काम करने वाला यह ग्रुप यूक्रेन युद्ध के बाद से खुलकर सामने आ चुका है। रूसी सैन्य विशेषज्ञ पावेल लुज़िन ने बताया कि यह हमेशा या तो मिलिट्री इंटेलिजेंस का या स्पेशल ऑपरेशन फोर्सेस का हिस्सा रहा है। कथित तौर पर इस समूह का चीफ रूसी कुलीन येवगेनी प्रिगोज़िन है जिसे ‘पुतिन का शेफ’ भी कहा जाता है।

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